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MLM Scam Exposed | By Sandeep Maheshwari #StopScamBusiness
इंडिया में इस वक्त हजारों मल्टीलेवल
मार्केटिंग कंपनीज ऑपरेट कर रही हैं
जिसमें से कुछ जेनुइन है और बहुत सारी ऐसी
कंपनीज हैं जो कि स्कैम कर रही हैं
इनफैक्ट पास्ट में भी ऐसी बहुत सारी
कंपनीज हैं जिन्होंने पब्लिक के साथ में
बहुत बड़ा स्कैम किया उसके बाद में या तो
वो कंपनीज बंद हो गई या उनके जो ओनर्स थे
उन्होंने सारा पैसा इकट्ठा किया पब्लिक का
और वो भाग गए और जब इस तरह के स्कैम्स
बहुत ज्यादा बढ़ गए हमारी कंट्री में तो
गवर्नमेंट ऑफ इंडिया ने एक बहुत ही अच्छा
स्टेप उठाया पब्लिक वेलफेयर के लिए
कंज्यूमर प्रोटेक्शन डायरेक्ट सेलिंग
रूल्स को इंट्रोड्यूस किया और अच्छी बात
यह है कि ये सारे रूल्स हिंदी में भी लिखे
हुए हैं और इंग्लिश में भी लिखे हुए हैं
जिससे कि कोई भी इंसान इसको अच्छे से पढ़
सके और समझ सके इसका लिंक मेरी इस वीडियो
के नीचे डिस्क्रिप्शन में है इससे पहले कि
मैं बात करूं कि ये रूल्स क्या है हमको ये
समझना बहुत जरूरी है कि जो डायरेक्ट
सेलिंग इंडस्ट्री है इसकी शुरुआत कैसे हुई
थी और उसके पीछे का लॉजिक क्या था तो जब
इस इंडस्ट्री की शुरुआत हुई थी तो उसका
लॉजिक बड़ा सिंपल सा था कि आपने एक
प्रोडक्ट खरीदा अगर वो प्रोडक्ट आपको पसंद
आया एज कंज्यूमर तो आपने आगे अपने
फ्रेंड्स को और रिलेटिव्स को रिकमेंड किया
जब रिकमेंड किया तो उस कंपनी को प्रॉफिट
हुआ तो उस प्रॉफिट में से कुछ परसेंटेज उस
कंपनी ने उस इंसान को दिया जिसने उस
प्रोडक्ट को रिकमेंड किया अगर इसी तरह से
इस बिजनेस को एक्चुअल में किया जाए तो
इसमें कुछ भी गलत नहीं है लेकिन अगर एक
कंपनी के जो डायरेक्ट सेलर्स हैं वो उस
कंपनी के प्रोडक्ट के बारे में तो कोई बात
ही नहीं कर रहे हैं वो बात कर रहे हैं
किसी ऐसे प्रोडक्ट के बारे में जिसका उस
कंपनी के प्रोडक्ट से दूर-दूर तक कोई
कनेक्शन नहीं है फॉर एग्जांपल वो कंपनी
बेच रही है साबुन तेल शैंपू और वहां पर
बात करी जा रही है
पैसा कमाना है यहां तक कि उनको प्रोडक्ट
से कोई लेना देना ही नहीं है तो यह एक
कंप्लीट स्कैम है जिसको गवर्नमेंट ने पूरी
तरह से बैन किया हुआ है और स्ट्रक्चर में
कुछ लोगों का तो फायदा होता है बाकी लाखों
लोगों के पैसे डूब जाते हैं मैं आपको एक
रियल लाइफ एग्जांपल देता हूं उससे आप
ज्यादा अच्छे से समझ पाएंगे फॉर एग्जांपल
एक कंपनी है जहां पर 10 लाख लोगों ने जॉइन
किया हुआ है उसकी साल की टर्नओवर है 100
करोड़ वहां पे अलग-अलग तरह के प्लांस होते
हैं कहीं पर होता है कि आपको आगे तीन
लोगों को जॉइन करवाना है कहीं पर होता है
बाइनरी प्लान यानी कि आपको आगे दो लोगों
को जॉइन करवाना है बट इन सारी कंपनीज को
बोलते हैं डायरेक्ट सेलिंग कंपनीज तो ये
जो डायरेक्ट से सेलिंग कंपनीज होती हैं ये
अपने डायरेक्ट सेलिंग नेटवर्क में 30 से
50 पर के बीच में पैसा डिस्ट्रीब्यूटर है
एवरेज हम कह सकते हैं 40 पर 100 करोड़ में
से 0 करोड़ चला गया इस कंपनी के
डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क में अब ये अमाउंट
सुनने में बहुत बड़ा लगता है ₹ करोड़ और
जो भी कोई नया मेंबर उस कंपनी को जवाइन
करता है उसके माइंड में यही होता है कि
अगला करोड़पति मैं ही हूं बट अब एक बार
प्रैक्टिकली देखते हैं कि अगर वो कंपनी
चाहे भी तो क्या सबको लखपति करोड़पति बना
सकती है ज्यादातर क्या होता है कि इन
कंपनीज में आप एक पैटर्न देखोगे हर कंपनी
का कोई ना कोई एक फेस होता है वो एक इंसान
स्टेज पर आकर के खड़ा होता है वहां पर व
इंसान आकर के स्टेज पर सबके सामने अपनी
इनकम को शेयर करता है और सबको बताता है कि
उसके पास में कौन सी गाड़ी है ज्यादातर इन
लोगों के पास में
इन अदर वर्ड्स कि अगर वो इंसान कह रहा है
कि मैं महीने का ₹ करोड़ कमा रहा हूं इस
कंपनी से इसका मतलब साल का कितना हो गया
₹1 करोड़ तो 100 करोड़ में से 12 करोड़ ये
इंसान ले गया इसके अलावा आप एक और बहुत
इंटरेस्टिंग पैटर्न ऑब्जर्व करोगे अगर
ध्यान से इस कंपनीज के स्ट्रक्चर को
समझोगे कि वो जो एक इंसान होता है उसके
नीचे कुछ लोग होते हैं जिसको डाउनलाइन
बोलते हैं उसमें 20 से 30 लोग ऐसे होते
हैं जो महीने का लाखों रुपए कमा रहे होते
हैं तो अब एक बेसिक सी कैलकुलेशन करते हैं
कि उस कंपनी में जो बाकी के लोग हैं यानी
10 लाख लोग हैं उनके हाथ में कितना पैसा आ
रहा है 12 करोड़ मिला उस एक इंसान को जो
टॉप पर बैठा है और 30 करोड़ मिला 29 लोगों
को जो उससे नीचे वाले लेवल पर है यानी हो
गया 42 करोड़ यानी कि 42 पर पैसा यहां पर
डिस्ट्रीब्यूटर अब मैं मान लेता हूं उस
कंपनी का पेआउट है 50 पर तो बचा कितना % 8
करोड़ ये 8 करोड़ किसके हाथ में आया बाकी
के जो 10 लाख लोग हैं उनके हाथ में तो एक
इंसान के हाथ में आता है 80 साल का अब
यहां पर समझने वाली बात ये है कि ये जो 80
है ये कैलकुलेशन के लिए एक एवरेज है बट
ऐसा एक्चुअल में नहीं होगा एक्चुअल में
क्या होगा किसी के हाथ में हो सकता है
8000 भी आ गया किसी के हाथ में कुछ भी
नहीं आया तो मैं कोई नहीं होता आपको ये
बोलने वाला कि आपको ये करना चाहिए नहीं
करना चाहिए यह डिसीजन आपका है क्योंकि
सिर्फ आपका पैसा नहीं लग रहा है आपका टाइम
भी लग रहा है प्लस जब आप ऐसी कंपनीज को
जॉइन करते हो तो बहुत सारी ऐसी कॉस्ट होती
है जिसको आपने शुरू में कैलकुलेट नहीं
किया होता है जैसे इन कंपनीज के जो
सेमिनार्स होते हैं यूजुअली उसके लिए आपको
टिकट खरीदनी होती है ट्रेवल के पैसे लगते
हैं आपका टाइम यहां पर लग रहा है तो आपको
सारी कैलकुलेशंस करके चलना है कि आपने
कितना पैसा और कितना टाइम लगाया और साल के
एंड में आपके पैसा कमाने की पॉसिबिलिटी
क्या है यानी कि अगर उस कंपनी में 10 लाख
लोग हैं और कोई एक इंसान आ कर के बोल रहा
है कि मेरे पास में 3 करोड़ की गाड़ी है
और ₹ करोड़ मैं महीने का कमा रहा हूं तो
वहां पर बैठ कर के तालियां नहीं बजानी है
बल्कि उस इंसान से ये पूछना है कि आपके
जैसे और कितने हैं इस कंपनी में यह पूछना
क्यों जरूरी है क्योंकि वो पैसा वो जो
इंसान कमा रहा है वो आपकी जेब से आने वाला
है तो अब सवाल ये उठता है कि क्या सारी
मल्टीलेवल मार्केटिंग कंपनीज जितनी भी है
वो सब फ्रॉड है ऐसा नहीं है कुछ कंपनीज
जेनुइन भी है लेकिन अब इस फर्क को कैसे
किया जाए कि कौन सी कंपनी जेनुइन है और
कौन सी फ्रॉड है तो आज हम यही काम करने
वाले हैं हम डिटेल में समझने वाले हैं कि
कौन सी कंपनी जेनुइन है और कौन सी फ्रॉड
है इसके बेसिस पे नहीं कि मुझे क्या लगता
है आपको क्या लगता है बल्कि इसके बेसिस पर
कि हमारी कंट्री का लॉ क्या कहता है 28
दिसंबर 2021 को गवर्नमेंट का एक
नोटिफिकेशन आता है जिसमें कि जितनी भी
डायरेक्ट सेलिंग कंपनीज हैं उन सबके लिए
प्रॉपर गवर्नमेंट ने कुछ रूल्स बनाए मैंने
डिटेल में इन सारे रूल्स को स्टडी किया और
इसमें से कुछ इंपॉर्टेंट पॉइंट्स को
हाईलाइट किया हुआ है जो हम सबके लिए एज
कंज्यूमर समझना बहुत इंपॉर्टेंट है इसमें
कहा जा रहा है नो डायरेक्ट सेलिंग एंटिटी
शल अडॉप्ट एनी अनफेयर ट्रेड प्रैक्टिस इन
द कोर्स ऑफ इट्स बिजनेस और अदर वाइज एंड
शल अबा इड बाय द रिक्वायरमेंट स्पेसिफाइड
एनी लॉ फॉर द टाइम बीइंग इन फोर्स इन अदर
वर्ड्स वो कंपनी जो भी आपको कमिट कर रही
है अपने प्रोडक्ट्स या सर्विसेस को सेल
करने से पहले या उस कंपनी को जॉइन करने से
पहले उसके बाद में उस कंपनी को उन सारे
कमिटमेंट्स को पूरा करना ही पड़ेगा अपनी
एडवर्टाइज के थ्रू या अपने डायरेक्ट सेलर
नेटवर्क के थ्रू या किसी भी तरीके से वो
कंपनी कोई भी किसी भी तरह का गलत कमिटमेंट
करके आपको जॉइन नहीं करवा सकती है अगर ऐसा
वो कंपनी कर रही है तो इन रूल्स के
अकॉर्डिंग वो बिल्कुल गलत है अगेन एक बहुत
इंपॉर्टेंट पॉइंट है यहां पर एवरी
डायरेक्ट सेलिंग एंटिटी शैल इंश्योर दैट द
एडवरटाइजमेंट्स फॉर मार्केटिंग ऑफ गुड्स
और सर्विसेस आर कंसिस्टेंट विद द एक्चुअल
कैरेक्टरिस्टिक एक्सेस एंड यूसेज कंडीशंस
ऑफ सच गुड्स एंड सर्विसेस इसका मतलब यह है
कि वो जो डायरेक्ट सेलिंग कंपनी है या जो
उसका नेटवर्क है डायरेक्ट सेलर्स का उसमें
से कोई भी ऐसा कोई भी एडवर्टाइजमेंट नहीं
दे सकते हैं कहीं पर भी जहां पर के उस
प्रोडक्ट को उस सर्विस को या उस कंपनी का
जो भी प्लान है उसको बहुत बढ़ा चढ़ा करके
दिखाया जा रहा है कि वो है कुछ और और उसको
कुछ और ही दिखाया जा रहा है अगर मैं इसका
एक प्रैक्टिकल एग्जांपल आपको दूं तो आपने
नोट किया होगा कि
अगर आप एक हाउसवाइफ हैं और घर बैठे-बैठे
लाखों रुपए कमाना चाहते हैं तो हमको
कांटेक्ट करिए तो इस तरह की एडवर्टाइज ंग
अगर कोई कंपनी कर रही है तो वह एक स्कैम
है अब ये एक पॉइंट है जो बहुत इंपॉर्टेंट
है समझने के लिए अ डायरेक्ट सेलिंग एंटिटी
व्हिच एक्सप्लीसिटली और इंप्ली मतलब के
डायरेक्टली या इनडायरेक्टली वाउचस फॉर द
ऑथेंटिसिटी ऑफ़ द गुड्स और सर्विसेस सोल्ड
और गारंटी ज दैट सच गुड्स और सर्विसेस आर
ऑथेंटिक शैल बियर द लायबिलिटी इन एनी
एक्शन रिलेटेड टू द ऑथेंटिसिटी ऑफ़ सच
गुड्स और सर्विसेस मतलब कोई भी डायरेक्ट
सेलिंग कंपनी या उसके साथ में जो भी लोग
जुड़े हुए हैं वो ऐसी कोई भी गारंटी नहीं
दे सकते हैं या कोई भी ऐसा क्लेम नहीं कर
सकते हैं जिसको बाद में वो पूरा ना कर सके
फॉर एग्जांपल वो कंपनी आपको यह कह रही है
कि अगर आपने हमारी कंपनी को जॉइन किया और
आप यहां से लाखों रुपए नहीं कमा सके तो
आपके पैसे वापस हो जाएंगे तो उस कंपनी को
वो पैसे वापस करने ही पड़ेंगे और यहां पर
जो दो बहुत इंपॉर्टेंट वर्ड्स हैं वो है
एक्सप्लीसिटली और इंप्लीड मतलब कि या तो
डायरेक्टली आपने गारंटी दी है या
इनडायरेक्टली दी है तब भी आप उस गारंटी को
पूरी करने के लिए लायबल हैं फॉर एग्जांपल
अगर कोई कंपनी आपको कहती है कि हमारा ये
प्रोडक्ट है यह सर्विस है इसको आप परचेज
करो इसको परचेज करने के बाद में आपकी जो
इनकम है वो 10 गुना बढ़ जाएगी तो अगर वो
10 गुना नहीं बढ़ती है तो उस कंपनी ने जो
भी
क्लेम्म के लिए वो कंपनी लायबल है इसमें
बिल्कुल क्लीयरली लिखा हुआ है दैट एवरी
डायरेक्ट सेलिंग एंटिटी एंड एवरी डायरेक्ट
सेलर शैल इंश्योर दैट द टर्म्स ऑफ़ द ऑफर
आर क्लियर सो एज टू इनेबल द कंज्यूमर टू
नो द एग्जैक्ट नेचर ऑफ ऑफर बीइंग मेड एंड
द कमिटमेंट इवॉल्वड इन प्लेसिंग एनी ऑर्डर
मतलब यूजुअली ऐसी कंपनीज में क्या होता है
ये आपके लिए एक तरीके का का एक फनल बना
देते हैं यानी कि जब आप इन कंपनीज को
जवाइन करते हो तो आपको कहा जाता है कि
आपको सिर्फ ₹5000000
देना है फिर वो ₹1 देने के बाद में आपको
पता लगता है कि आपको 5000 और देना है फिर
उसके बाद में आपको पता लगता है कि अब अगर
अपने बिजनेस को आपको बढ़ाना है आपको कमीशन
चाहिए तो आपको 5000 नहीं देना है अब आपको
0000 देना है एक तरह का एक ट्रैप बना दिया
जाता है जहां पर आप अंदर जाकर के फंसते ही
चले जाते हो तो जो एक्चुअल इन्वेस्टमेंट
होती है उस बिजनेस में वो उससे बहुत
ज्यादा होती है जितनी कि शुरू में दिख रही
होती है या दिखाई जाती है यह करना गलत है
इन रूल्स अकॉर्डिंग आपको बिल्कुल क्लियर
तरीके से उस इंसान को बताना है जॉइन करने
से पहले यानी उससे ₹1 भी लेने से पहले कि
इसी स्टेज पर इतना इतना पैसा लगने वाला है
जैसे बहुत सारी कंपनीज ऐसी होती हैं जहां
पर के जॉइन करने के बाद में अगर उन कंपनीज
को आप कहोगे कि हमको डाटा चाहिए जिस डाटा
को हम कॉल कर सकें और जिनको यह प्रोडक्ट
और सर्विस बेच सके तो उस डाटा के भी वो
कंपनी आपसे पैसे लेगी यानी वो कंपनी आपको
बोलेगी कि एक लीड का आपको ₹ 440 या 50
देना है तो अगर आपको 100 लीड चाहिए तो
आपको ₹5000000
आप सोच के आए थे उस कंपनी में कि ₹ हज में
मेरा काम शुरू हो जाएगा साल के एंड में जब
आप कैलकुलेट कर रहे हो तो आप देख रहे हो
कि मेरा 00 नहीं लगा है यहां पे 2 लाख लग
गया है तो यहां पे यह कहा जा रहा है कि यह
सब कुछ आपको उस इंसान को जॉइन करने के बाद
नहीं बताना है पहले से बताना है इसमें एक
बहुत इंपोर्टेंट क्लॉज है जिसको बहुत सारी
कंपनीज वायलेट कर रही है खुलेआम मतलब कि
ऐसे बहुत सारे डायरेक्ट सेलर्स हैं या
डायरेक्ट सेलिंग कंपनी है जो बोलती हैं कि
हमारी अनकंडीशनल मनी बैक गारंटी है और बाद
में जब आप उस कंपनी के साथ में एग्रीमेंट
साइन करते हो तो वहां पर बहुत सारी
कंडीशंस होती हैं तो इसका मतलब क्या हुआ
कहा कि जो मनी बैक गारंटी है वो अनकंडीशनल
है जबकि एक्चुअल में जब एग्रीमेंट की बारी
आई तो वहां पर बहुत सारी कंडीशंस है कि
पहले आपको ये करना पड़ेगा फिर ये करना
पड़ेगा फिर ये करना पड़ेगा फिर ये करना
पड़ेगा तब जाकर के आपके पैसे आपको वापस
होंगे ये गलत है ऐसा आप नहीं कर सकते हो
इस क्लॉज को ध्यान से समझना ये बहुत
इंपॉर्टेंट है अ डायरेक्ट सेलिंग एंटिटी
और डायरेक्ट सेलर शैल नॉट रिफ्यूज टू टेक
बैक स्प्यूरीयस गुड्स और डेफिशियेंसी
पेड फॉर गुड्स एंड सर्विसेस प्रोवाइडेड
मतलब यहां पे क्या कहा जा रहा है कि अगर
आपने एक एमएलएम कंपनी को जवाइन किया और
उसके जो गुड्स हैं और सर्विसेस हैं उससे
आप सेटिस्फाइड नहीं है तो उस कंपनी को
आपको आपका पैसा रिफंड करना ही होगा और यही
सबसे बड़ा फर्क है एक जेनुइन डायरेक्ट
सेलिंग कंपनी में और एक फेक डायरेक्ट
सेलिंग कंपनी में जिस कंपनी को अपने
प्रोडक्ट्स और सर्विसेस पे कॉन्फिडेंस
होगा उनकी जो मनी बैक गारंटी है वो
अनकंडीशनल होगी यानी कि वो कंपनी आपको ये
नहीं बोलेगी कि आपने हमसे प्रोडक्ट खरीदा
सर्विस खरीदा अब अगर आपको अपना पैसा वापस
चाहिए तो आगे आपको इतने लोगों को और लेकर
के आना पड़ेगा तब आपको आपका पैसा वापस
मिलेगा अगर कोई कंपनी ऐसा बोल रही है तो
वो एक स्कैम है और यही बात जो मैंने अभी
बोली है यह आगे एक और क्लॉज में क्लियर
मेंशन है अ डायरेक्ट सेलिंग एंटिटी एंड अ
डायरेक्ट सेलर शैल नॉट इंड्यूस कंज्यूमर्स
टू मेक अ परचेज बेस्ड अपऑन द
रिप्रेजेंटेशन दैट दे कैन रिकवर द प्राइस
बाय रेफरिंग प्रोस्पेक्टिव कस्टमर्स टू द
डायरेक्ट सेलर्स फॉर सिमिलर परचेसेस इन
सिंपल वर्ड्स यहां पर क्या कहा जा रहा है
कि आपके ऊपर किसी भी तरह का कोई भी प्रेशर
नहीं होना चाहिए उस कंपनी के प्रोडक्ट्स
या सर्विसेस को सेल करने के लिए या आगे
किसी को मेंबर बनाने के के लिए अगर आप उस
कंपनी के प्रोडक्ट से सर्विसेस से पूरी
तरह से सेटिस्फाइड हो तभी आपको रिकमेंड
करना है आगे और लोगों को उस कंपनी को
जवाइन करने के लिए अगर ऐसा एक्चुअल में हो
रहा है तो कंपनी जेनुइन है लेकिन अगर ऐसा
नहीं हो रहा है तो वो एक स्कैम है और ये
सब तो वो है जो रूल्स में क्लियर लिखा हुआ
है कि ये करना गलत है इसके अलावा ऐसी बहुत
सारी चीजें हैं जो बहुत सारी एमएलएम
कंपनीज में होती है जो हो सकता है लीगली
सही है लेकिन एथिकली बिल्कुल गलत है मतलब
कि अगर कोई भी डायरेक्ट सेलिंग कंपनी है
जिसका कि एक डायरेक्ट सेलर्स का नेटवर्क
है तो स्ट्रक्चर में सारे लोगों को सिर्फ
तब बेनिफिट हो सकता है जब जो प्रोडक्ट है
और सर्विस है उसकी अपने आप में इतनी वर्थ
है कि अगर एक इंसान वहां से ₹ रप भी ना
कमाए तब भी उसको किसी तरह का कोई रिग्रेट
ना हो कि मैंने इस कंपनी को जॉइन किया
मतलब कि हो सकता है जो गवर्नमेंट के रूल्स
हैं डायरेक्ट सेलिंग इंडस्ट्री के लिए
वहां पर ये नहीं लिखा है कि उस कंपनी के
जो प्रोडक्ट्स हैं और सर्विसेस हैं उसका
प्राइस पॉइंट क्या होना चाहिए लेकिन ये
आपको देखना है उस कंपनी को जॉइन करने से
पहले फॉर एग्जांपल वो कंपनी आपको साबुन का
डब्बा बेच रही है ₹5000000
का तो अगर वहां पर आपको कोई कमीशन ना मिले
कोई इंसेंटिव ना मिले कोई पैसे की
बड़ी-बड़ी बातें ना हो कोई
बातें ना हो तब भी क्या आप वो प्रोडक्ट
खरीदोगे अगर तो जवाब है हां तो वो कंपनी
बहुत बढ़िया है लेकिन अगर जवाब है ना तो
यह बिजनेस फंडामेंटली फ्लड है क्योंकि ये
जो बात अब मैं बोलने वाला हूं इसको ध्यान
से समझिए ये सिर्फ डायरेक्ट सेलिंग बिजनेस
पर अप्लाई नहीं होता है बल्कि किसी भी
बिजनेस में अप्लाई होता है अगर उस बिजनेस
में रिपीट बिजनेस नहीं आ रहा है वर्ड ऑफ
माउथ स्ट्रांग नहीं है तो बिजनेस आज नहीं
तो कल फेल होना ही होना है वर्ड ऑफ माउथ
नॉट ऑफ द मनी दैट अ पर्सन कैन अर्न फ्रॉम
दैट पर्टिकुलर कंपनी बट वर्ड ऑफ माउथ ऑफ द
प्रोडक्ट एंड सर्विसेस ऑफर्ड बाय दैट
पर्टिकुलर कंपनी वर्ड ऑफ माउथ इस इस का
नहीं कि उस कंपनी से लोग कितना पैसा कमा
रहे हैं बल्कि इस चीज का कि उसके
प्रोडक्ट्स और सर्विसेस कितने अच्छे हैं
अगर एक्चुअल में उस कंपनी के प्रोडक्ट्स
और सर्विसेस अच्छे हैं कंपट प्राइस है और
अगर आप खुद अपने घर में उन प्रोडक्ट्स को
बार-बार यूज कर सकते हो तो ये बिजनेस
लॉन्ग टर्म में सक्सेसफुल हो सकता है
लेकिन अगर उस कंपनी के जो प्रोडक्ट्स है
और सर्विसेस है उसमें दम नहीं है तो
बिजनेस ने आज नहीं तो कल फेल होना ही होना
है और यही सबसे बड़ा फर्क है एक जेनुइन
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